शेयर बाजार : तिमाही परिणाम पर रहेगी नजर
Source : business.khaskhabar.com | Oct 12, 2014 | 

मुंबई। देश के शेयर बाजारों में अगले सप्ताह निवेशकों की निगाह देश की कंपनियों द्वारा जारी होने वाले मौजूदा कारोबारी साल की दूसरी तिमाही के परिणामों पर टिकी रहेगी। आगामी सप्ताहों में महाराष्ट्र और हरियाणा के चुनाव परिणामों, विदेशी संस्थागत निवेश के आंक़डों, वैश्विक बाजारों के रूझान, डॉलर के मुकाबले रूपये की चाल और तेल के मूल्य पर भी निवेशकों की नजर बनी रहेगी। मौजूदा कारोबारी साल की दूसरी तिमाही के लिए कंपनियों के वित्तीय परिणाम का दौर शुरू हो चुका है। परिणाम जारी करने का दौर मध्य नवंबर तक चलेगा। आगामी सप्ताह सोमवार, 13 अक्टूबर को इंडसइंड बैंक और सिंटेक्स, मंगलवार को बजाज ऑटो और ब्लू डार्ट, बुधवार को माइंडट्री और टाटा स्पंज, गुरूवार को हीरो मोटोकॉर्प और टीसीएस तथा शुक्रवार को एक्सिस बैंक और जी एंटरटेनमेंट एंटरप्राइजेज लिमिटेड अपने तिमाही परिणाम जारी करेंगे।
सरकार सोमवार को उपभोक्ता मूल्य सूचकांक पर आधारित सितंबर महीने के लिए उपभोक्ता महंगाई दर के आंक़डे जारी करेगी। अगस्त में यह दर 7.8 फीसदी थी। सरकार मंगलवार को सितंबर महीने के लिए थोक मूल्य सूचकांक पर आधारित थोक महंगाई दर के आंक़डे जारी करेगी। अगस्त महीने में थोक महंगाई दर 3.74 फीसदी रही थी। सरकारी तेल विपणन कंपनियां गुरवार, 16 अक्टूबर को गत पखव़ाडे की औसत आयातित तेल मूल्य के आधार पर तेल मूल्य में जरूरत होने पर संशोधन करेगी। इसके कारण तेल, वाहन और उड्डयन कंपनियों के शेयरों की चाल पर निवेशकों की निगाह रहेगी। महाराष्ट्र और हरियाणा में बुधवार 15 अक्टूबर को विधानसभा चुनाव होने हैं। मतगणना रविवार 19 अक्टूबर को होगी।
अन्य राज्यों में विधानसभा से संबंधित चुनावों में भारतीय जनता पार्टी के कमजोर प्रदर्शन के कारण निवेशकों की इन चुनावों पर टकटकी लगी रहेगी। अंतर्राष्ट्रीय मंच पर अमेरिकी फेडरल रिजर्व की नीति निर्मात्री समिति फेडरल ओपेन मार्केट कमिटी (एफओएमसी) की अगली मौद्रिक नीति समीक्षा बैठक 28-29 अक्टूबर को होगी।
फेड ने सितंबर की समीक्षा में बांडों की खरीदारी के मासिक कार्यक्रम को 10 अरब डॉलर और घटा दिया है। यदि अगली समीक्षा में भी इसी गति से कार्यक्रम में कटौती जारी रहती है, तो यह अक्टूबर में ही समाप्त हो जाएगा। सितंबर की बैठक में फेड ने ब्याज दर को भी बांड खरीदारी कार्यक्रम के समाप्त होने के बाद लंबे समय तक शून्य के करीब रखने की घोषणा की है। निवशेकों की निगाह 10-12 अक्टूबर को वाशिंगटन में अंतर्राष्ट्रीय मुद्राकोष और विश्व बैंक समूह की संयुक्त सालाना बैठक पर भी रहेगी।