"अमेरिकी बिल से भारत को 30 अरब डॉलर का नुकसान"
Source : business.khaskhabar.com | Aug 16, 2014 | 

नई दिल्ली। अमेरिकी संसद के निचले सदन की भारत अमेरिकी परामर्श परिषद (आईएसीसी) ने कहा है कि यदि आव्रजन विधेयक कानून का रूप ले लेता है तो इससे भारतीय अर्थव्यवस्था को सालाना 30 अरब डालर का नुकसान होगा। इससे आईटी उद्योग सबसे अधिक प्रभावित होगा। यह विधेयक अमेरिकी संसद में विचाराधीन है। अमेरिकी प्रतिनिधि सभा को भारत से जुडे मुद्दे पर सलाह देने वाली आईएसीसी ने कहा कि अमेरिकी आव्रजन विधेयक एस-744 में उन वीजाधारकों के लिए काम की आउटसोसिंüग में उल्लेखनीय कटौती की वकालत की गई है जिन वीजा का इस्तेमाल ज्यादातर भारतीय कंपनियां व पेशेवर करते हैं।
आईएसीसी के चेयरमैन शलभ कुमार ने बताया,यदि यह विधेयक कानून का रूप लेता है तो भारत की जीडीपी प्रति वर्ष 30 अरब डालर घट जाएगी। इसमें रोजगार की स्थिति सबसे अधिक प्रभावित होगी। इसका सीधा प्रभाव यह होगा कि एक करोड भारतीय आईटी पेशेवरों के पास कोई काम नहीं होगा। ज्यादातर भारतीय आईटी पेशेवर या तो एच1बी या एल1 वीजा पर काम कर रहे हैं।
एच1बी वीजा अमेरिकी कंपनियों को विदेशी पेशेवरों की नियुक्ति की अनुमति देता है और एल1 एक अंतरराष्ट्रीय कंपनी के अधिकारी को एक कर्मचारी का स्थानांतरण उसी कंपनी की अमेरिकी शाखा या फ्रेंचाइजी में करने की अनुमति देता है। विधेयक में एच1बी और एल1 वीजाधारकों को भेजे जाने की सीमा तय की गई है। इसके तहत किसी कंपनी के अमेरिका स्थित कार्यालय में कर्मचारियों की संख्या के 15 प्रतिशत से अधिक संख्या में ऎसे वीजा के तहत कर्मियों को नहीं भेजा जा सकेगा। इसमें एच1बी और एल1 वीजाधारकों के संबंधियों की संख्या का अनुपात भी तय कर दिया गया है।