बैंकों के कर्जदारों को बख्शा नहीं जाएगा:जेटली
Source : business.khaskhabar.com | Mar 05, 2016 | 

गुडगांव। वित्त मंत्री अरूण जेटली ने शनिवार को कहा कि भारतीय बैंकों की वित्तीय हालत सुधारना सरकार की शीर्ष प्राथमिकताओं में से एक है। जब भी उनकी पूंजी बढाने की जरूरत होगी सरकार उनमें पैसा डालेगी। उन्होंने यह भी कहा कि कर्जदारों को बख्शा नहीं जाएगा।
जेटली ने यहां दो दिवसीय ज्ञान संगम कार्यक्रम में कहा,अगर अधिक धन की जरूरत होगी तो हम और संसाधनों की तलाश करेंगे। इस सम्मेलन में बैंको और वित्तीय संस्थाओं के शीर्ष अधिकारी, केंद्रीय बैंक नेतृत्व और प्रमुख नीति निर्माता हिस्सा ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार नया दिवालिया कानून ला रही है जिससे बैंकों को कर्जदारों से कर्ज वसूलने में आसानी होगी। इसके अलावा कर्ज वसूली प्राधिकरण जो देश की पहला ऑनलाइन अदालत होगी, की स्थापना की जाएगी, ताकि कर्ज वसूली की प्रçRया तेज हो। जेटली ने बजट प्रस्ताव में बैंक समेकन पर एक विशेषज्ञ समूह के गठन की बात कही थी। उन्होंने इस बारे में कहा कि यह उनकी शीर्ष प्राथमिकता है।
उन्होंने कहा, हमें मजबूत बैंकों की जरूरत है। वहां कोई भी क़डी कमजोर नहीं होनी चाहिए। हमें बैंकों की ज्यादा संख्या की बजाए मजबूत बैंकों की जरूरत है। वित्त राज्यमंत्री जयंत सिन्हा ने कहा कि बैंकों का कुल 8 लाख करो़ड रूपये फंसा है, जिसमें पुनर्गठित कर्ज और गैरनिष्पादित संपत्तियां शामिल हैं। सिन्हा ने कहा कि बैंकों को कर्जदारों के साथ चर्चा करके तय करना होगा कि कितना वे एनपीए (गैर निष्पादित परिसंपत्ति) में डालेंगे और कितने का निष्पादन हो पाएगा। याद रहे,हाल ही भारतीय रिजर्व बैंक के डिप्टी गर्वनर एसएस मुद्रा ने कहा था कि बैंको की फंसी हुई रकम पिछले साल 15 सितंबर तक उनकी कुल पूंजी का 17 फीसदी था जबकि मार्च 2013 में यह 13.4 फीसदी थी। यह लगभग 10 लाख करोड रूपए है।
(आईएएनएस)