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आईआईटी मद्रास ने रचा इतिहासः एनआईआरएफ 2025 में लगातार दसवीं बार नंबर-1, नवाचार और स्थिरता में भी शीर्ष स्थान

Source : business.khaskhabar.com | Sep 04, 2025 | businesskhaskhabar.com Business News Rss Feeds
 iit madras creates history ranked no 1 for the tenth time in a row in nirf 2025 also tops in innovation and sustainability 749970नई दिल्ली। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान मद्रास (आईआईटी मद्रास) ने एक बार फिर भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय की राष्ट्रीय संस्थान रैंकिंग फ्रेमवर्क (एनआईआरएफ) 2025 में शीर्ष स्थान हासिल कर नया कीर्तिमान रचा है। संस्थान ने ‘इंजीनियरिंग’ श्रेणी में लगातार दसवें वर्ष और ‘सकल’ श्रेणी में सातवें वर्ष नंबर-1 का दर्जा बनाए रखा। 
इस वर्ष आईआईटी मद्रास ने ‘नवाचार’ श्रेणी में भी पहला स्थान प्राप्त किया, जबकि ‘शोध संस्थान’ श्रेणी में भारतीय विज्ञान संस्थान, बैंगलुरु के बाद दूसरा स्थान बरकरार रखा। उल्लेखनीय है कि पहली बार शामिल की गई ‘सस्टेनेबल डेवलपमेंट गोल्स’ (एसडीजी) श्रेणी में भी संस्थान शीर्ष पर रहा। 
नई दिल्ली में आयोजित समारोह में शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने रैंकिंग परिणाम जारी किए। उन्होंने कहा कि भारत की उच्च शिक्षा तेजी से विस्तार कर रही है और रैंकिंग व्यवस्था न सिर्फ प्रतिस्पर्धा बढ़ाएगी बल्कि शिक्षा की गुणवत्ता और जवाबदेही भी सुनिश्चित करेगी। आईआईटी मद्रास निदेशक प्रो. वी. कामकोटि ने पुरस्कार प्राप्त करते हुए कहा कि यह उपलब्धि छात्रों, शिक्षकों, पूर्व छात्रों और कर्मचारियों के सामूहिक प्रयास का नतीजा है।
उन्होंने संस्थान के लक्ष्य ‘विकसित भारत 2047’ को ध्यान में रखते हुए नवाचार और शोध को और गति देने का संकल्प दोहराया। आईआईटी मद्रास हाल के वर्षों में वैश्विक स्तर पर भी प्रगति कर रहा है। क्यूएस वर्ल्ड यूनिवर्सिटी रैंकिंग 2026 में संस्थान ने पिछले साल की तुलना में छलांग लगाते हुए 227वें स्थान से 180वां स्थान प्राप्त किया। संस्थान ने हाल ही में स्कूल ऑफ इनोवेशन एंड आंत्रप्रेन्योरशिप और स्कूल ऑफ सस्टेनेबिलिटी की स्थापना की है। वर्ष 2024-25 में 100 से अधिक स्टार्ट-अप्स को इनक्यूबेट किया गया और 417 पेटेंट आवेदन दाखिल हुए। 
यह आंकड़ा निदेशक के लक्ष्य “एक पेटेंट प्रतिदिन” से भी अधिक है। आईआईटी मद्रास देश का पहला आईआईटी है जिसने विदेश में पूर्ण परिसर (जांज़ीबार) स्थापित किया और खेल व ललित कला में उत्कृष्टता के आधार पर प्रवेश की शुरुआत की। यह संस्थान अब न केवल भारत में, बल्कि अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भी अपनी उत्कृष्टता का परचम लहरा रहा है।

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